Hanuman Ashtak Hindi
बाल समय रवि भक्षी लियो तब,
 तीनहुं लोक भयो अंधियारों I 
 ताहि सों त्रास भयो जग को,
 यह संकट काहु सों जात  न टारो I 
 देवन आनि करी बिनती तब,
 छाड़ी दियो रवि कष्ट निवारो I 
 को नहीं जानत है जग में कपि,
 संकटमोचन नाम तिहारो I को - १
 बालि की त्रास कपीस बसैं गिरि,
 जात महाप्रभु पंथ निहारो I 
 चौंकि महामुनि साप दियो तब ,
 चाहिए कौन बिचार बिचारो I 
 कैद्विज रूप लिवाय महाप्रभु,
 सो तुम दास के सोक निवारो I  को - २

Ba-la sa-ma-ya ra-vi bhak-shi li-yo ta-ba ti-na-ko lo-ka bha-yo ad-hi-ya-ro